"पनदा रमुवा अर खिमू"
पनदा- रमुवा चाँआ पकै दे भुला
रमुवा- अल्लै पकुणु
पनदा य चिनि निमडँ रै
पनदा- त खिमू मगा दे चिनि तैकु हाथक चिनि भौते फाँर हुँ
तबतै एक अग्रेज वा ऐजा अर अणाड फणाड जागग नौ पुछण भैजा
रमुवा- अरे खिमु छ्वड यार तगै ना तगै कुमाँऊणि ऐ ना हमगै अग्रेजी जा यार एक किलो चिनि लिबै आदै
त्यर हाथक चिनि "भौते फाँर" (किसी के हाथ कि चिज बहुत चलती है तो उसे कहते है- "तैक हाथ भौते फाँर छू") हुँ यार
अग्रेज जसकै फाँर ("फाँर" far- दुर ) शब्द सुनु
ओ माई गोड "भैरि फाँर" (बहुत दुर)
खिमु- होई भौते फाँर
रमुवा- ओ बौज्यु म्यर त राडि च्यालाकै कुँमाऊणि ले उण भगैछो
फाँर-अफाँर कुमाँऊणि शब्द छण
फाँर- मतलब कैकु हाथक समान भौते चलै ता उगुँ फाँर कुणि
अर
अफाँर- जैक हाथक समान कम चलु ता कुणि तैक हाथ अफाँर छू (अफँरिपट)
लेख-सुन्दर कबडोला
गलेई- बागेश्वर- उत्तराँखण्ड
© 2013 sundarkabdola , All Rights Reserved
Thursday, May 23, 2013
Friday, May 3, 2013
सुन ले चीन बात हमारी
सुन ले चीन बात हमारी
जो कदम रखा है
जिस धरति मे
वीरो कि खेती उगति है
ना उकसा हम को
बधे हुऐ ये हाथ हमारे
भँष्ट नेता के जँजीरो से
जो सटक गयी ये खोपडि देख
थाम सके ना कोई वीर
सुन ले चीन बात हमारी
"शान्त सरोवर के है भारतीय
बिखुड गये तो शेर के जैसे हिसँक प्राणि
ना उलझो हमसे"
"हँवा के जैसे मध्यम प्राणि
बिखुड गये तो तेज तुफानी के है भारतीय
ना उलझो हमसे"
जो सटक गयी ये खोपडि देख
लेख-सुन्दर कबडोला
गलेई- बागेश्वर- उत्तराँखण्ड
© 2013 sundarkabdola , All Rights Reserved
जो कदम रखा है
जिस धरति मे
वीरो कि खेती उगति है
ना उकसा हम को
बधे हुऐ ये हाथ हमारे
भँष्ट नेता के जँजीरो से
जो सटक गयी ये खोपडि देख
थाम सके ना कोई वीर
सुन ले चीन बात हमारी
"शान्त सरोवर के है भारतीय
बिखुड गये तो शेर के जैसे हिसँक प्राणि
ना उलझो हमसे"
"हँवा के जैसे मध्यम प्राणि
बिखुड गये तो तेज तुफानी के है भारतीय
ना उलझो हमसे"
जो सटक गयी ये खोपडि देख
लेख-सुन्दर कबडोला
गलेई- बागेश्वर- उत्तराँखण्ड
© 2013 sundarkabdola , All Rights Reserved
Thursday, May 2, 2013
सरबजीत
पाक से लोटा
एक शूरवीर हमारा
मृत श्याँ मे लेटा है जो
ख्वाँईश थी उस व्यक्ती कि
अपने माँटि मे रँगने कि
लोट के आया
लाल कपडे के चादर मे सौया
माँ भारति का था ओ लाल
दिल कलेजा दान मे देके
लोट के आया
माँ भारति का था ओ लाल
सौ सितम झैल के आया
माँ भारति का कर्ज चुकाँ के
देश कि माँटि मे रँगने
परिवार से मिलने मुक्ति पाने
मृत श्याँ मे पाक से लोटा
दिल कलेजा दान मे देके
लोट के आया
माँ भारति का था ओ लाल
जिवित रह के
ना कोई उसका अपना
आज उँमड के नेता आऐ
पैसो कि बारशि अर्थि मे उसके
वाह रे नेता...
जीते जी काम लगा ना
मृत श्याँ को खरीद लिया
वाह रे नेता तूने आज
वाह रे नेता तूने आज
दिल कलेजा दान मे देके
लोट के आया
माँ भारति का था ओ लाल
लेख-सुन्दर कबडोला
गलेई- बागेश्वर- उत्तराँखण्ड
© 2013 sundarkabdola , All Rights Reserved
एक शूरवीर हमारा
मृत श्याँ मे लेटा है जो
ख्वाँईश थी उस व्यक्ती कि
अपने माँटि मे रँगने कि
लोट के आया
लाल कपडे के चादर मे सौया
माँ भारति का था ओ लाल
दिल कलेजा दान मे देके
लोट के आया
माँ भारति का था ओ लाल
सौ सितम झैल के आया
माँ भारति का कर्ज चुकाँ के
देश कि माँटि मे रँगने
परिवार से मिलने मुक्ति पाने
मृत श्याँ मे पाक से लोटा
दिल कलेजा दान मे देके
लोट के आया
माँ भारति का था ओ लाल
जिवित रह के
ना कोई उसका अपना
आज उँमड के नेता आऐ
पैसो कि बारशि अर्थि मे उसके
वाह रे नेता...
जीते जी काम लगा ना
मृत श्याँ को खरीद लिया
वाह रे नेता तूने आज
वाह रे नेता तूने आज
दिल कलेजा दान मे देके
लोट के आया
माँ भारति का था ओ लाल
लेख-सुन्दर कबडोला
गलेई- बागेश्वर- उत्तराँखण्ड
© 2013 sundarkabdola , All Rights Reserved
अँकुई हैगि यु सैणि मैस
अँकुई हैगि यु सैणि मैस
बल माँटि मा हैगो छेद
नि उगनौय धानु खेत
इँन्सान ता बदली
बदली गै यु माँटि आज
हाँट भाँट तोडि
नि भरनौय पेट
कै हैगो कै रैगो
बजँर पडि यु पहाडि माँट
अँकुई हैगि यु सैणि मैस
लैण दैण ऊ पहाडि पेट
सुँसाईटि मा हैगो गेट
जो झण-मण हुछि खेत
सुँसाईटि मा हैगे लेण
अँकुई हैगि यु सैणि मैस
गौरु वाला भैसि वाला
अँकुई हैगि यु मैसि काला
ना गौरु बाँछा ना मौ कु डाला
जीड जीड खेत नि ऊपजि पैद
अँकुई हैगि यु सैणि मैस
रेडि मेड खेति चै
सदाबहार बिन मेहनत कूँ
ना इखरि ना दवारि मौ
बस सुँसाईटि खाद चै
अँकुई हैगि यु सैणि मैस
इन्सान ता बदली रेडि मेड
नि बदली यु पहाडि माँट
आज ले छण ऊ सारे रँग
खुणन खुणन धार
सिमरिया बास
सिढि दार खेति वाल
बस नजर छू रेडि मेड
सदाबहार बिन मेहनत कूँ
लेख-सुन्दर कबडोला
गलेई- बागेश्वर- उत्तराँखण्ड
© 2013 sundarkabdola , All Rights Reserved
बल माँटि मा हैगो छेद
नि उगनौय धानु खेत
इँन्सान ता बदली
बदली गै यु माँटि आज
हाँट भाँट तोडि
नि भरनौय पेट
कै हैगो कै रैगो
बजँर पडि यु पहाडि माँट
अँकुई हैगि यु सैणि मैस
लैण दैण ऊ पहाडि पेट
सुँसाईटि मा हैगो गेट
जो झण-मण हुछि खेत
सुँसाईटि मा हैगे लेण
अँकुई हैगि यु सैणि मैस
गौरु वाला भैसि वाला
अँकुई हैगि यु मैसि काला
ना गौरु बाँछा ना मौ कु डाला
जीड जीड खेत नि ऊपजि पैद
अँकुई हैगि यु सैणि मैस
रेडि मेड खेति चै
सदाबहार बिन मेहनत कूँ
ना इखरि ना दवारि मौ
बस सुँसाईटि खाद चै
अँकुई हैगि यु सैणि मैस
इन्सान ता बदली रेडि मेड
नि बदली यु पहाडि माँट
आज ले छण ऊ सारे रँग
खुणन खुणन धार
सिमरिया बास
सिढि दार खेति वाल
बस नजर छू रेडि मेड
सदाबहार बिन मेहनत कूँ
लेख-सुन्दर कबडोला
गलेई- बागेश्वर- उत्तराँखण्ड
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